वॉरेन बफे आज 85 साल की उम्र में भी एक सफल इन्वेस्टर, इंटरप्रेन्योर होने के साथ एक मोटिवेशनल स्पीकर भी हैं।वारेन बफे 21 वी सदी के सबसे बड़े दानवीर माने गए हैं। उन्होंने अपनी कुल संपति का लगभग 85% हिस्सा बिल गेट्स की Bill & Melinda Gates Foundation को दान मैं देकर इतिहास रच दिया ओर दुनिया का सबसे बड़े दानशुर बन गए।
वारेन बुफेट का जन्म 30 अगस्त 1930 को अमेरिका के ओमाहा शहर के नेबरस्का जगह पर हुआ था | वारेन बुफेट के पिता का नाम होवार्ड बुफे था जो शेयर बाजार में कारोबारी थे और माँ का नाम लीला था | वो अपने माता की तीन संतानों में दुसरे स्थान की सन्तान और इकलौते पुत्र थे |
★ निजी जीवन ★ : श्री बफेट नें 1952 में सुसान थोम्प्सन से शादी कि.उनके तीन बच्चे हुए, सुसी, हॉवर्ड और पीटर .1977 से उन्होनें अलग अलग रहना शुरू कर दिया था, हालाँकि जुलाई 2004 में सुसान कि मौत तक वो शादी शुदा ही बने रहे।
★ वारेन की पढ़ाई लिखाई ★: वारेन ने अपनी पढ़ाई “Rose Hill Elementary School” से अपनी प्रारम्भिक शिक्षा की शुरुवात की थी | 1942 में उनके पिता को यूनाइटेड स्टेट कांग्रेस के लिए चुना गया था जिसके बाद उनका परिवार वाशिंगटन चला गया था | वारेन इसके बाद ऐलिस डील जूनियर हाई स्कूल में पढ़े और 1947 में वुडरो विल्सन हाई स्कूल से स्नातक की उपाधि प्राप्त की |
★ बचपन से ही था व्यापार का शौक ★: वारेन बुफेट को व्यापार और निवेश का शौक बचपन से ही था | अपने व्यापार के शुरुआती दिनों में जब वो केवल ग्यारह वर्ष के थे तब वो घर घर जाकर पत्रिकाए बांटना , च्युइंगहम और कोका कोला की बोतल बेचना जैसे कई काम किया करते थे ताकि उनके जेब खर्च के पैसे निकल सके | इसके बाद वो अपने दादाजी की किराने की दुकान पर पैसे कमाने के लिए अख़बार बांटते , गोल्फ बाल और स्टाम्प बेचने आदि कई काम किया करते थे जब वो हाई स्कूल में पढ़ा करते थे | केवल तेरह वर्ष की उम्र में उन्होंने अपना पहला आयकर रिटर्न भरा था जिसके कारण उन्होंने अपने साइकिल के उपयोग और घड़ी पर 35 डॉलर की कमी कर दी थी | उन्हें हमेशा इस बात का अफ़सोस रहा कि उन्होंने पैसा कमाने की शुरुवात बहुत देर से की |
★ निवेश करने की शुरुआत ★: अपनी निवेश की सोच को आगे बढ़ाते हुवे वारेन बफे ने इसी फील्ड में अपना करियर बनाने की सोची। वॉरेन बफे का मानना हैं आज वो जो भी हैं उसका श्रेय बेंजामिन ग्राहम को जाता हैं। आपकी जानकारी के लिए बता दूँ बेंजामिन ग्राहम भी शेयर बाजार के बहुत बड़े खिलाडी थे।
बेंजामिन ग्राहम से वॉरेन बफे की मुलाकात कोलंबिया बिजनेस स्कूल में हुई थी। वॉरेन को सही मायनों में काम करने का अवसर तब मिला जब बेंजामिन ग्राहम ने उन्हें 12 हजार डॉलर वेतन पर अपनी फर्म में नौकरी पर रखा। इस नौकरी के दौरान ही उन्हें शेयर बाजार के उतार-चढ़ाव को फायदे के लिए इस्तेमाल किए जाने के तरीको की समझ को विकसित करने का अवसर मिला।
दो वर्ष बाद बेंजामिन ग्राहम ने कंपनी से सेवानिवृति ले ली। जिसके बाद वारेन ने भी कंपनी छोड़ दी और खुद का काम शुरू किया। बफेट ने सबसे शुरू पार्टनरशिप लिमिटेड के नाम से निवेश फर्म बनाई। इसी फर्म में हुई अपनी कमाई से बफेट ने अपना पहला और वर्तमान घर 31 हजार 500 डॉलर में खरीदा, जिसमे आज भी वे रहते हैं। इसके बाद तो वॉरेन ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा और 1962 आते-आते महज 32 साल की उम्र में करोड़पति बन गए।
अपनी कंपनी साझेदारियों की नेटवर्थ 7 करोड़ 17 लाख डॉलर से ज्यादा हो चुकी थी और इसमे में 10 लाख 25 हजार से ज्यादा की रकम अकेले वॉरेन की थी। इसके बाद उनकी जिंदगी में आया बर्कशायर हैथवे कंपनी। वॉरेन ने तेजी से इस कंपनी के शेयर्स को खरीदना शुरू कर दिया और 1965 तक इस कंपनी का नियंत्रण उन्होंने अपने हाथों में ले लिया। इस कारनामें को अंजाम देते वक्त उनकी उम्र महज 35 साल थी। आज भी वॉरेन बफे इस कंपनी से जुड़े हैं और मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं। और देखते ही देखते कई उतर-चढ़ाव के बाद वारेन बफे दुनिया के अरब पतियों में शामिल हो गए। आज दुनिया के तीसरे और अमेरिका के दूसरे सबसे धनि व्यक्ति बन गए हैं।
★ वारेन खाली वक़्त कहाँ बिताते हैं ★ : वो ब्रिज (bridge)(ताश का एक खेल) के एक काफी उत्सुक खिलाड़ी हैं और उनका कहना है हफ्ते में 12 घंटे इस खेल को खेलते हुए बिताते हैं। वो अक्सर बिल गेट्स और पॉल एलन (Paul Allen) के साथ खेलते हैं।
★ वॉरेन बफेट के अमीर बनने के नुस्खे और टिप्स ★
#1). निवेश करते वक्त जरूरी है कि आपके दिमाग में कोई न कोई प्लान हो यानी बिना लक्ष्य के निवेश करना सही नहीं. सोच समझकर निवेश करने के बाद जरूरी है कि नतीजों के लिए धैर्यपूर्वक इंतजार किया जाए। बफे के ही शब्दों में, स्टॉक मार्केट एक ऐसा उपकरण है जो बेसब्र (निवेशक) के हाथों से पैसा लेकर सब्र रखने वाले (निवेशक) को पैसा सौंप देता है।
#2). बफे कहते हैं कि अपने सभी अंडे एक ही टोकरी में नहीं रखें। बात जब निवेश करने की आती है तो हाथ में कितना नकद है यह खंगाले और फिर फिक्स्ड इनकम सोर्स पर निवेश करें। इससे मिलने वाला रिटर्न इतना जरूर होना चाहिए कि आपकी वर्तमान लाइफस्टाइल बनी रहे। इसके बाद पैसा थोड़ा रिस्क ज़ोन में लेकिन जहां अधिक रिटर्न की संभावना हो, वहां लगाएं। निवेश की जो भी रणनीति बनाएं उसके मूल में संतुलन बनाए रखने की समझदारी जरूर होनी चाहिए।
#3). एक से अधिक आय के स्रोत बनाएं। वॉरेन कहते हैं कि एक नौकरी पर ही निर्भर न रहें। निवेश करें ताकि उनसे अतिरिक्त कमाई हो सके। कुछ भी खरीदने से पहले दो बार सोचें। यदि आप लगातार ऐसी चीजें खरीदते रहेंगे जिनकी जरूरत नहीं है तो जल्द ही आप ऐसी कंडीशन में आ जाएंगे कि जब आपको जरूरी खरीददारी करने के लिए भी सोचना पड़ेगा।
#4). वॉरेन बफे कहते हैं, अमीर व्यक्ति ‘समय’ में इन्वेस्ट करता है जबकि गरीब व्यक्ति पैसे में निवेश करता है. बफे वक्त को बेहद कीमती मानते हैं, किस चीज या काम को कितना वक्त देना है, यही मैनेजमेंट व्यक्ति को आगे ले जाता है। हर व्यक्ति को 24 घंटे ही मिले होते हैं और हर कोई इन घंटो का इस्तेमाल अपने हिसाब से करता है। सही तरह से वक्त का किया गया इस्तेमाल सही इन्वेस्टमेंट है।