यह एक पशु-अधिकार संगठन है। इस संगठन में पशुओं के साथ नैतिक व्यवहार के पक्षधर लोग काम करते है। यह संस्था जानवरों के अधिकारों की स्थापना और बचाव के लिए समर्पित है। यहाँ पशुओं की देख रेख से लेकर उनके रख राखब तक का पूरा ध्यान रखा जाता है। यह संस्था पशुओं के हित के लिए कार्य करती है। Peta का गठन 1 9 80 में इनग्रिड न्यूकिर्क और एलेक्स पचेको द्वारा किया गया था। यह पूरे संसार का सबसे बड़ा पशु-अधिकार संगठन है। इसका मुख्यालय यूएसए के वर्जिनिया के नॉर्फोल्क (Norfolk) में स्थित है।
पेटा का नारा है “जानवरों को खाने, पहनने, प्रयोग करने, मनोरंजन के लिए इस्तेमाल करने या किसी अन्य तरीके से दुरुपयोग करने के लिए हमारा नहीं है।” इसके 6.5 मिलियन सदस्य और समर्थक है। जब भी जनवरी पर कोई आपदा या मुश्किल आती है तब तब इ संस्था आगे होकर बाद चढ़ के हिस्सा लेती है। पेटा जानवरों के दुरुपयोग के बारे में नीति निर्माताओं और जनता को शिक्षित करता है और जानवरों की तरह के उपचार को बढ़ावा देता है।
भारत मे PETA- भारत मे PETA की शुरुआत जनवरी 2000 मे हुई, इसका मुख्य उद्देश्य यह है की मनोरंजन लिए जानवरो पर अत्याचार नहीं हो इसके लिए PETA ने तमिलनाडु के एक खेल जलिकटु को बंद करने के लिए न्यायालय मे वाद भी प्रस्तुत किया और फैसला भी PETA के पक्ष मे आया, इसी के साथ PETA ने बहुत सारे पशुओ को स्मगलिंग से भी बचाया है|
शोषण को रोक:यह तो थी मुख्य घटनाएं जिन पर पेटा ने काम किया इनके अलावा पेटा ने बहुत से ऐसे मुद्दों पर काम किया है जिनसे वह जानवरो के साथ हो रहे शोषण को रोक पाया और आज भी कई ऐसे मुद्दों पर कार्य कर रहा है।
अभी हाल ही में पेटा ने कमजोर चूजों वाले मुद्दे, पतंगबाजी के दौरान मांझे की चपेट में आकर बड़ी संख्या में पक्छियो की मौत का मुद्दा, सर्कस में जानवरों के उपयोग का मुद्दा, ज़ंजीरों में कैद और महावत की पिटाई सेहत रहा तेरह साल का हाथी सुंदर मुद्दे पर ध्यान केंद्रित किया था।
सिल्वर स्प्रिंग घटना:इस संस्था पर लोगो की नजर 1981 की गर्मियों में पहली बार तब पड़ी जब सिल्वर स्प्रिंग बन्दर वाली घटना सामने आई थी। पेटा द्वारा गुप्त जांच करने पर बंदरों पर गंभीर प्रयोगों को समाप्त कर दिया गया था । पेटा एक कमरे में 2 लोगों द्वारा शुरू की गई संस्था है और आज इस संस्था में 5 लाख से अधिक सदस्य है ये सब मिल कर पशु बचाव के लिए कार्य करते है। यह दुनिया के पशु अधिकारों के लिए सबसे शक्तिशाली बल है।