पीरियड्स ! जी हाँ दोस्तों आज हम बात करेंगे पीरियड्स यानी माहवारी के बारे मे। पीरियड्स एक सामान्य सी प्रक्रिया है। पीरियड्स ये कोई बीमारी नही है। यह एक हर महिला मे होने वाली एक शारीरिक प्रक्रिया है। पीरियड्स 12 साल से स्टार्ट होकर 45 या किसी किसी को 50 तक उम्र तक होता है। पीरियड्स महिलाओं की अच्छी सेहत की निशानी है,अगर किसी भी महिला को टाइम पे पीरियड्स होते है तो ऐसा माना जाता है कि उस महिला की सेहत अच्छी है, लेकिन कई बार ये बहुत दर्दनाक और मुश्किल भरे साबित होते हैं | पीरियड्स के बारे में आज भी कई लड़कियां और महिलाएं बात करने में झिझकती हैं, ऐसे में कई लड़कियां को नहीं पता होता कि इन दिनों कैसे खुद को स्वच्छ रखें। दरअसल पीरियड्स के दिनों में बाकि दिनों से भी ज्यादा खुद की स्वच्छता पर ध्यान देने की जरूरत होती है, वर्ना इन दौरान आपको इंफेक्शन आसानी से हो सकता है। हमारे देश मे पीरियड्स के प्रति ज़्यादा जानकारी और जागरूकता की कमी के कारण बहुत सी लडकिया और महिलायें बहुत सारी गलतियाँ करती हैं और छोटी छोटी बातो का ध्यान नहीं देती है। आइये जानते हैं उनके बारे में :—
- पीरियड्स आने की डेट का ध्यान रखें। आप चाहें तो इसे नोट करके रखें। हर लड़की या महिला को एक महीने मे एक बार ही पीरियड्स होते है। ये 3 से 5 दिन तक रहते है। अगर पीरियड्स आपको हर महीने नही आते या 5 दिन से ज़्यादा रहते है तो आपको अपने पास के किसी स्त्री रोग विशेषज्ञ डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। अगर आप माँ बनने वाली हैं तो आपकी ये डेट्स आगे पीछे हो सकती हैं।
- इस दौरान आप सेनेटरी पैड का इस्तेमाल करें और हर 6-8 घंटे में अपना पैड बदल दें। कपडे का यूज़ नहीं करें, क्योकि कपडे की वजह से इन्फेक्शन हो सकता हैं और इसका सीधा असर आपके स्वास्थ पे पड़ेगा। पैड का इस्तेमाल करें
- आप पीरियड्स में आम दिनों की अपेक्षा अधिक पानी पियें जिससे आपका दिमाग भी शांत रहेगा और पेट दर्द भी कम होगा |
- लंबे समय तक एक ही पैड को लगाने से पसीने व आपकी योनि के जीवों के कारण आपका पैड नम रहता है। पैड का लंबे समय तक नम एवं गर्म स्थान पर रहने से योनि में इन जीवों की संख्या बढ़ जाती है, जिससे कई प्रकार के संक्रमण हो सकते हैं।
- वैसे तो आपको हमेशा ही अपनी योनि को पानी से धोते रहना चाहिए व उसे साफ और सूखा रखना चाहिए लेकिन पीरियड्स के दौरान इसकी सफाई और भी ज्यादा अहम हो जाती है। इन दिनों की ब्लीडिंग के कारण खून योनि के आसपास भी लग जाता है, जिसे आपको तुरंत धोना चाहिए। इससे आपकी योनि से आने वाली दुर्गंध भी कम हो जाएगी।
- जैसे आप नहाते वक्त साबुन का इस्तेमाल अपने शरीर के जर्म्स को खत्म करने के लिए करती हैं, यही सोचकर अक्सर महिलाएं अपनी योनि को भी साबुन लगाकर धोती हैं, लेकिन आपको साबुन का इस्तेमाल योनि पर नहीं करना चाहिए। योनि की स्कीन के लिए साबुन हार्ड होते हैं, ये आपकी योनि के जरुरी व अच्छे बैक्टीरिया को भी नष्ट कर देते हैं।
- आपकी योनि में दो प्रकार के बैक्टीरिया होते हैं अच्छे व बुरे। अच्छे बैक्टीरिया वहां हमेशा ही मौजूद होते हैं जो आपको छोटे-मोटे इंफेक्शन से स्वत: ही बचा लेते हैं। योनि बुरे बैक्टीरिया को भी स्वत: ही नष्ट करने में सक्षम होती है। इसलिए आप केवल गुनगुने पानी से अपनी योनि साफ करें।
- अधिक बहाव में बार-बार पैड बदलने के झंझट से बचने के लिए कईं महिलाएं एक ही बार में 2 पैड लगा लेती हैं, यह तरीका बिलकुल गलत है। एक पैड की जितनी सोखने की क्षमता है वह उतना ही सोखेगा और 2 पैड एक साथ लगाने से योनि में गर्मी अधिक बढ़ेगी, बैक्टीरिया अधिक पनपेंगे और ये सिर्फ दुर्गंध को न्योता देंगे, साथ ही आपको असुविधा भी होगी।
- अपनी योनि को साफ करते समय सही तरीके को अपनाना भी उतना ही जरुरी है। अपने हाथ को आगे से पीछे की ओर चलाए। यदि आप पीछे से आगे की ओर हाथ मूव करते हुए योनि साफ करती हैं, तब आपके एनस की तरफ मौजूद बैक्टीरिया आपकी योनि की तरफ आ जाते हैं और इंफेक्शन हो जाता है। ऐसे में आपको पता भी नहीं चल पाता कि इतनी बार धोने पर भी संक्रमण कैसे हुआ।
- पीरियड्स मे सफाई का विशेष ध्यान रखें। अपने वेजानिल पार्ट और आसपास अच्छे से सफाई रखें। वॉशरूम जाने के बाद हाथों को साबुन से धोएं।
- पीरियड्स मे भरपूर पानी पिएं दिन में 6-8 गिलास पानी पीने से बॉडी हाइड्रेट रहेगी। डाइजेशन अच्छा होगा। दर्द और तकलीफ में फायदा होगा।
- पीरियड्स मे हेल्दी डाइट ले। आप ग्रीन वेजिटेबल्स, सलाद, ग्रीन टी, केला, पपीता, डार्क चॉकलेट्स, फिश, ड्राय फ्रूट्स और नट्स जैसी चीजें खाएं।
- जंक फूड से दूर रहें। चाय-कॉफी, कोल्ड ड्रिंक्स, ऑयली और फैटी फूड जैसी चीजें पीरियड्स की तकलीफ बढ़ाती हैं। इन्हें अवॉयड करें।
- पीरियड्स मे एक्सरसाइज करें। डॉक्टर की सलाह से हल्की एक्सरसाइज, प्राणायाम, योगा या फिजियोथेरेपी करें। पीरियड्स क्रैम्प से राहत मिलेगी।
- पीरियड्स के दिनों मे महिलाओं को आराम करना चाहिए। पीरियड्स के दर्द और तकलीफ से बचने के लिए रेस्ट करें, टेंशन और स्ट्रेस से बचें और 7-8 घंटे की भरपूर नींद लें।